- अतुल सुभाष के बयान के मुताबिक एक एक हफ्ते तक नहीं नहाती थी उनकी पत्नी
- बंगलूरू में सॉफ्टवेयर इंजीनियर थे अतुल सुभाष
नेशन स्टेशन डेस्क
जौनपुर: सॉफ्टवेयर इंजीनियर अतुल सुभाष और उसकी पत्नी निकिता के बीच पहली बार झगड़ा नॉनवेज खाने को लेकर हुआ था। दीवानी न्यायालय में जुलाई 2024 में दर्ज बयान में अतुल ने कहा था कि वह और उसका परिवार पूर्ण रूप से शाकाहारी है। परन्तु निकिता मांसाहारी भोजन ज्यादा पसंद है। कभी-कभी निकिता नॉनवेज खाकर हड्डी कमरे तक में फेंक देती थी। एक-एक सप्ताह तक नहाती नहीं थी। इस बात पर उसका और निकिता का झगड़ा होता था। इस कारण अक्सर निकिता से बहस हो जाया करती थी, एक बार मेरी मां ने बीच-बचाव की कोशिश की तो निकिता ने उन्हें भी धक्का दे दिया। जो पुरे परिवार को पसंद नहीं था|
घटना के बाद घर से गायब है, निकिता का परिवार
अतुल सुभाष की आत्महत्या के मामले में आरोपी निकिता की मां निशा सिंघानिया और अनुराग सिंघानिया ढालगर स्थित घर छोड़कर पिछले कई से फरार हैं। इस मामले में आरोपी निकिता के ताऊ सुशील सिंघानिया भी अपने घर से बाहर नहीं निकल रहे हैं। बृहस्पतिवार को जौनपुर पहुंची बंगलुरू पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार करने की चर्चा रही, लेकिन पुलिस द्वारा ऐसी कोई कार्रवाई नहीं की गई।
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हत्या के लिए यह बनी सबसे बड़ी वज़ह
आत्महत्या करने वाले इंजीनियर अतुल सुभाष पर फैमिली कोर्ट में भरण पोषण, दहेज उत्पीड़न, घरेलू हिंसा और तलाक के चार मामले चल रहे थे। इसके लिए वह हर तारीख पर बंगलूरू से जौनपुर आते थे। दूसरी तरफ, अदालत के आदेश पर अतुल सुभाष हर महीने बेटे के भरण पोषण के लिए 40 हजार रुपये दे रहे थे। यह स्थिति तब थी, जब अतुल की पत्नी निकिता सिंघानिया की मासिक सैलरी 78 हजार रुपये है। इंजीनियर अतुल सुभाष ने बंगलुरू में आत्महत्या की। उन्होंने 23 पेज का सुसाइड नोट भी लिखा है।
भरण पोषण के नाम पर दे रहे थे अतुल 40 हज़ार
निकिता ने अदालत को बताया कि अतुल मोदी बंगलूरू में एक कंपनी में इंजीनियर है। वह सालाना 40 लाख रुपये वेतन पाता है। निकिता ने 16 जनवरी 2022 को अपने और बेटे के लिए दो लाख रुपये प्रतिमाह भरण पोषण की मांग करते हुए फैमिली कोर्ट में मामला दर्ज कराया था, जबकि निकिता की ही सैलरी अच्छी खासी है। कोर्ट ने 29 जुलाई 2024 को पत्नी के संबंध में भरण पोषण का प्रार्थना पत्र निरस्त कर दिया।