- धक्का मुक्की में उखड़े सितारे और बैज, धक्का देकर भागने की कर रहे थे कोशिश
- बंथरा थाने के हरौनी चौकी पर प्रभारी दरोगा थे राहुल त्रिपाठी
गौरव श्रीवास्तव
लखनऊ:- मामला उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ का हैं। जहां एंटी करप्शन टीम ने रंगे हाथों बंथरा थाने क्षेत्र में हरौनी चौकी पर तैनात प्रभारी दरोगा राहुल त्रिपाठी को 10,000 की घूस लेते हुए रंगे हाथों पकड़ लिया। दरोगा ने पहले तो एंटी करप्शन टीम को धक्का देकर भागने का प्रयास किया। लेकिन जैसे ही दरोगा ने एंटी करप्शन टीम को धक्का दिया, वैसे ही टीम के सदस्यों ने दरोगा को दबोच लिया और गोद में टांगकर लेकर चले गए। धक्कामुक्की के दौरान दरोगा के कंधे पर लगे सितारे व बैज निकल गए। बताते चलें की एंटी करप्शन का विशेष अभियान भी चल रहा है। इस दौरान अनेक विभागों में तैनात कर्मचारियों व अधिकारियों पर भ्रष्टाचार पर नकेल लगाने के लिए कार्यवाही की जा रही है। एंटी करप्शन टीमें प्राप्त सूचना के आधार पर घात लगाकर पकड़ने का काम कर आई है।
क्या है पूरा मामला
प्राप्त हुई जानकारी के अनुसार कुछ दिन पहले बंथरा थाने में एक युवती ने बंथरा थाने के क्षेत्र में ही आने वाले एक होटल में उसके साथ दुष्कर्म की शिकायत को दर्ज करने के लिए एक अनुरोध पत्र दिया था। आरोप है कि, युवक ने होटल में ले जाकर उसके साथ दुष्कर्म किया था। मामले की विवेचना दरोगा राहुल त्रिपाठी कर रहे थे। दरोगा होटल के मालिक को धमका कर धन उगाही के लिए दबाव बना रहे थे। होटल मालिक ने बताया कि आरोपी दरोगा 20 हज़ार की मांग कर रहा था। जिसमें से होटल मालिक ने 10 हज़ार रूपए देने की हामी भारी थी। जिसकी जानकारी होटल मालिक ने एंटी करप्शन टीम को भी दे दी थी। प्राप्त हुई जानकारी के बाद एंटी करप्शन टीम सतर्क हो गई, और रंगे हाथों पकड़ने को लेकर प्लान बनाया।डॉ.अर्चना सिंह व उनकी टीम होटल पहुंच गई। होटल मालिक ने जैसे ही 10 हज़ार रूपए दरोगा को दिया। वैसे ही एंटी करप्शन टीम ने रंगे हाथों घूस में ली जाने वाली रकम के साथ दरोगा राहुल त्रिपाठी को रंगे हाथों दबोच लिया।
देखें वीडियो
क्या कहते हैं सरकारी आंकड़े
बताते चलें कि जनवरी से अब तक एंटी करप्शन और विजिलेंस की टीमों ने अनेक सरकारी विभागों में तैनात अधिकारियों व कर्मचारियों समेत 24 घूसखोरों को पकड़ा है। जिसमें से 10 राजस्व विभाग व 6 पुलिस विभाग के कर्मचारी व अधिकारी शामिल हैं। एक रिपोर्ट के अनुसार राजस्व विभाग घूसखोरी के मामले में नंबर एक पर बना हुआ है उसके बाद दूसरा नंबर पुलिस विभाग का बन गया है।
यह भी पढ़े
साधारण बसों से 10 प्रतिशत कम होगा इन ख़ास बसों का किराया, पढ़े पूरी खबर